सेल्फ डिसिप्लिन ही एक ऐसा तरीका है जो इन्सान को धीरे-धीरे वहां पंहुचा देता है जहाँ का वो हक़दार होगा. ऐसा माना जाता है की सेल्फ डिसिप्लिन दुनिया के सबसे कठिन कार्यों में से एक है. अगर आपको सफलता पाना है तो एक ही मूल मंत्र है और वो है सेल्फ डिसिप्लिन. चाहे कुछ भी हो जाये आप अपने सेल्फ डिसिप्लिन का पालन जरुर कीजिये. इसका सटीक उदाहरण पेश कर रहे है गाजियाबाद के रहने वाले अर्जुन सिंह मनराल.

अर्जुन सिंह मनराल ने अपने सेल्फ डिसिप्लिन के मदद से ही नौकरी करते हुए भी UPSC की परीक्षा पास कर लिया है. संघ लोक सेवा आयोग द्वारा आयोजित परीक्षा में अर्जुन सिंह मनराल 553वीं रैंक प्राप्त की है. जबकि वो फुल टाइम एक और नौकरी कर रहे थे. वो हरियाणा के नूंह जिले में बीडीपीओ के पद कार्यरत है.

पूरा दिन वो उस जिले की सेवा करते और रात को पढाई करते. ये कोई आसान काम नहीं है. क्योकि उनको तो आलरेडी सफलता मिल गई थी. वो आगे UPSC की परीक्षा नहीं भी देते तो चलता लेकिन उन्होंने अपने सपनो को पूरा करने के लिए अपना पढाई जारी रखा और IAS बने.

अर्जुन ने अपने सपनों को पूरा करने के लिए मेहनत और लगन का सहारा लिया। उन्होंने दिनभर कार्य के साथ साथ रात में चार घंटे तक पढ़ाई की। इस उत्साह और संघर्ष के बीच, उन्होंने 11 महीने में अपने लक्ष्य को पूरा किया।

अर्जुन सिंह साल 2022 में हरियाणा में हुई एचसीएस परीक्षा में उत्तीर्ण हुए थे और BDO बन गए थे. वो बताते है की उनको वहां काम करके बहुत अच्छा लगा. वो हमेशा उस जगह को धन्यवाद देते रहेंगे.

अर्जुन सिंह मनराल की यह कहानी हमें यह सिखाती है कि सपनों को पूरा करने के लिए लगन, मेहनत और निरंतर प्रयास की आवश्यकता होती है। जो की डेली रुटीन में सेल्फ डिसिप्लिन को अपना कर प्राप्त किया जा सकता है.

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